सरिस्का अभयारण्य में नलदेश्वर धाम के बारे में आपने शायद ही सुना हो। अलवर जिले में प्राकृतिक मनमोहक स्थलों में नलदेश्वर का नाम प्रमुख रूप से आता है। यहां आप सुरम्य पहाड़ियों के बीच प्राकृतिक सौन्दर्य का आनंद भी ले सकते हैं और भोलेबाबा के दर्शन करने का सौभाग्य तो आपको मिलेगा ही। तो चलिए, आज आपको बताते हैं इस सुरम्य स्थान नलदेश्वर धाम के बारे में-
यह धाम अलवर और थानागाजी के मध्य अरावली की पहाड़ियों में स्थित है। यदि आप सड़क मार्ग से यहां जाना चाहते हैं तो बारां से आगे चलने पर अलवर—थानागाजी के बीच की ये पहाड़ियां स्थित है। इसी सड़क के बाईं ओर पहाड़ी की घाटी से अन्दर जाने वाला रास्ता आपको सीधा नलदेश्वर की ओर ले जाएगा।
नलदेश्वर में महादेव जी का मंदिर है जिसमें स्थानीय लोगों की बड़ी आस्था है। यहां तक पहुंचने के लिए आपको सैकड़ों की संख्या में सीढ़िया चढ़नी पड़ेंगी। ऊपर बनी मन्दिरनुमा चट्टान से निरंतर पानी गिरता रहता है। बीहड़ घनघोर जंगल, पहाड़ी नाला और एक नैसर्गिक कुंड यहां की शोभा में और भी बढ़ोतरी करते हैं।
बरसात के समय में यह स्थान काफी सुरम्य हो जाता है। आप पिकनिक के लिए भी यहां जा सकते हैं। यहां न सिर्फ स्थानीय लोग आते हैं, बल्कि दूर—दराज के इलाकों में भी इसकी मान्यता है और लोग यहां अपनी मन्नत पूरी करने के लिए आते हैं।
मन्दिर में दर्शन का समय: मंदिर सुबह से सायं 5 बजे तक दर्शन के लिए खुला रहता है। सोमवार और शिवरात्रि पर तो यहां लोगों का काफी जमावड़ा रहता है।
Naldeshwar temple, Alwar on Google Map
<कैसे पहुंचें (How To Reach) अलवर भारत के सभी शहरों से हवाई, रेल और सड़क मार्ग से जुड़ा है। यदि आप सड़क मार्ग से यहां जाना चाहते हैं तो बारां से आगे चलने पर अलवर—थानागाजी के बीच की ये पहाड़ियां स्थित है। इसी सड़क के बाईं ओर पहाड़ी की घाटी से अन्दर जाने वाला रास्ता आपको सीधा नलदेश्वर की ओर ले जाएगा।

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